ब्लैक सेब की खेती किसान हो जाएगा लखपति जाने इन की खासियत

WhatsApp Group (Join Now) Join Now
Telegram Group (Join Now) Join Now

हमारे देश भारत में सेब की खेती कई सारे राज्य में किसान करते है। जैसे की जम्मू कश्मीर, उतार प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, अरूणाचल प्रदेश, पंजाब, सिक्किम, इन के अलावा भी बिहार और महाराष्ट्र राज्य में भी सेब की उन्नत किस्में की खेती किसान करते है। ऐसे ही एक सेब की उन्नत किस्में है जिनका नाम है ब्लैक सेब की खेती (Black Apple Ki Kheti) इन के बारे में बहुत कुछ जानेगे।

Black Apple Ki Kheti

हमारे देश भारत में विविध क्षेत्र में विविध जमीन और अलग अलग जलवायु है इस लिया विविध विस्तार में सेब की अलग अलग उन्नत किस्में के पौधे की रोपाई किसान करते है और अच्छा उत्पादन के साथ अधिक मुनाफा भी करते है। आज तक आप ने हरे सेब, लाल सेब, पीले सेब, तो बहुत ही देखे होगे पर क्या आप ने कभी ब्लेक सेब देखा है। हमारे देश भारत में सेब की कई सारी उन्नत किस्में है और यह उन्नत किस्में के स्वाद भी अलग होता है और इन में पाए जाने वाला पोषक तत्व और गुण भी अलग अलग पाए जाता है। इस सेब को कई लोग ब्लैक डायमंड एप्पल (Black Diamond Apple) से भी जानते है। तो आई ए आज के इस आर्टिकल की मदद से हम जानेगे की काले सेब की (Kale Seb) की अन्य सेब से क्या क्या विशेस्ता है और इन काले सेब में कौन कौन सा विटामिन एवं पोषक तत्व पाए जाते है।

काले सेब में विटामिन ए, विटामिन ई, विटामिन बी, और विटामिन सी, अधिक मात्रा में मौजूद होता है। इन के अलावा फायबर, कैरोटीनॉयड, पोटैशियम, एंटीऑक्सीडेंट, कैरोटीनॉयड, आदि पोषक तत्व भी पाए जाते है। इन सब की वजे से इस ब्लैक सेब की बाजारी मांग बढ़ती ही जाती है। इस लिए इन की बाजारी भाव भी अन्य सेब से अधिक मिलता है। तो आई ए जानते है ब्लैक सेब की खेती कैसे करे और इन खेती से किसान लाखो रुपए का मुनाफा कैसे करे। इस आर्टिकल में हम जानेगे की ब्लैक सेब की खेती कहा होती है और कैसे करते है।

यह काले सेब बहुत कम बाजार में भी दिखाई देते है। यह सेब का मूल स्थान तिब्बत और भूटान है। इन की खेती बहुत कम जगह पर देखने को मिलेगी। आम तो सेब के पौधे की बुवाई के बाद 4 से 5 साल बाद फल लगने लगते है। पर इस ब्लैक सेब के पौधे की रोपाई के बाद 7 से 8 साल या इन से भी अधिक समय लगता है। इन के पेड़ पर हर साल फल नहीं लगते यह फलने में भी अधिक साल का समय लगता है। इसी लिए तो इन के फल बाजार में कम दीखते है और सभी सेब से महंगा भी मिलता है।

जब भी हम सेब के बारे में सोचते है तब तुरंत आप के दिमांग में लाल सेब की तस्वीर दिखाई देती है। और इस लाल सेब का रंग जितना गहरा है इतना ही इन के दाम भी अधिक होता है। आम तो सभी सेब की बजरी मांग साल भर बानी रहती है। पर आज का ब्लैक सेब की चर्चा बाजार में अधिक हो रही है। हमारे देश और विश्व भर में सेब की कई साडी उन्नत किस्में पाई जाती है पर इन ब्लैक सेब एक दुर्लभ किस्में है जो हर विस्तार में आसानी से नहीं मिलती है और नहीं दिखाई देती है। इस सेब का रंग गहरे बैंगन रंग का होता है। इस किस्में की खेती समुद्र स्तल से काफी अच्छाई पर की जाती है। इसी लिए तो इन का रंग काले हो जाता है।

इस ब्लैक सेब की खेती बहुत पुराणी नहीं है यह कुछ ही साल लगभग 2015 से ही शुरू हुई है। इन को सब से ज्यादा गुआंगज़ौ, शंघाई, और शेन्ज़ेन इन मार्किट में सब से अधिक दिखाई देते है और यहां इन की खपत भी बहुत होती है। इन की कीमत बाजार में 500 रुपए से अधिक होती है।

अन्य भी पढ़े :

आज के इस आर्टिकल में हम ने आप को ब्लैक सेब की खेती (Black Apple Ki Kheti) इन के बारे में अच्छी जानकारी बताई है। यह आर्टिकल आप को ब्लैक सेब की खेती के लिए बहुत हेल्फ फूल होगा और यह आर्टिकल आप को पसंद भी आया होगा ऐसी हम उम्मीद रखते है। और इस आर्टिकल को ज्यादा से ज्यादा किसान भाई और अपने मित्रो को शेयर करे।

हमारे इस ब्लॉग ikhedutputra.com पर हर हमेेश किसान को खेती की विविध फसल के उन्नत बीज से लेकर उत्पादन और इन से होने वाली कमाई और मुनाफा तक की सारी बात बताई जाती है। इन के अलावा जो किसान के हित में सरकार की तरफ से चलाई जाने वाली विविध योजना और खेती के नई तौर तरीके के बारे में भी बहुत कुछ जानने को मिलेगा।

इन सब की मदद से किसान खेतीबाड़ी से अच्छी इनकम कर सकता है। इस लिया आप हमारी यह वेबसाईट आईखेडूतपुत्रा को सब्सक्राब करे ताकि आप को अपने मोबाईल में रोजाना नई नोटिफिकेशन मिलती रहे। इस आर्टिकल के अंत तक हमारे साथ बने रहने के लिए आप का बहुत बहुत धन्यवाद।

इस लेख को किसान के साथ शेयर करे...

नमस्कार किसान मित्रो, में Mavji Shekh आपका “iKhedutPutra” ब्लॉग पर तहेदिल से स्वागत करता हूँ। मैं अपने बारे में बताऊ तो मैंने अपना ग्रेजुएशन B.SC Agri में जूनागढ़ गुजरात से पूरा किया है। फ़िलहाल में अपना काम फार्मिंग के साथ साथ एग्रीकल्चर ब्लॉग पर किसानो को हेल्पफुल कंटेंट लिखता हु।

Leave a Comment